लंदन। ब्रिटेन में कोरोना वायरस महामारी के बावजूद लोगों ने नस्लवाद के खिलाफ लामबंद होकर बड़े पैमाने पर प्रदर्शन किए। ‘ब्लैक लाइव्स मैटर’ अभियान से प्रेरित ये प्रदर्शन लंदन, मैनचेस्टर, एडिनबर्ग और ग्लास्गो समेत अन्य शहरों में हो रहे हैं। हजारों लोग लंदन के हायडे पार्क में एकत्रित हुए और उन्होंने त्राफलगर स्क्वेयर की ओर शांतिपूर्ण मार्च निकाला। एक छोटे समूह ने अमेरिकी दूतावास के समीप दक्षिण लंदन से मार्च निकाला। प्रदर्शन के एक आयोजक इमार्न आयटन ने हायडे पार्क में एकत्रित भीड़ से कहा, ‘हम सभी आज यहां एकत्रित हैं, क्योंकि हम जानते हैं कि काले लोगों की जिंदगियां भी मायने रखती हैं। हम सभी आज यहां इसलिए हैं, क्योंकि हम जानते हैं कि काले लोग सुंदर होते हैं और हम सब आज यहां इसलिए भी इकट्ठा हुए हैं, क्योंकि हम जानते हैं कि यह संस्थागत नस्लवाद को खत्म करने का वक्त है।’ गौरतलब है कि अमेरिका में काले व्यक्ति जॉर्ज फ्लॉयड की 25 मई को पुलिस हिरासत में मौत के बाद दुनियाभर में नस्लवाद के खिलाफ प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। ग्लास्गो के जॉर्ज स्क्वेयर में ‘नस्लवाद को न कहो’ रैली में सैकड़ों लोग शामिल हुए। जॉर्ज फ्लॉयड की मौत के बाद ब्रिटेन में हजारों लोगों ने प्रदर्शन किए हैं, जिनमें से ज्यादातर प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहे हैं। देश के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने घोषणा की कि वह एक आयोग का गठन कर रहे हैं जो यह देखेगा कि नस्ली अन्याय को खत्म करने के लिए और क्या किया जा सकता है।