कानपुर । यूपी के सबसे बड़े और व्यस्त शहर कानपुर में हिंसक झड़प के बाद सूबे की पुलिस ने 800 से अधिक लोगों के खिलाफ केस दर्ज किए हैं, जिनमें संदिग्ध साजिशकर्ताओं समेत 24 को गिरफ्तार किया गया है। दंगे और हिंसा के मामले में 12 को हिरासत में लिया गया है। पुलिस ने गिरफ्तार आरोपियों के पास से जब्त किए गए मोबाइल फोन से डाटा रिकवर करने के लिए फॉरेंसिक साइंस लैबोरेटरी के विशेषज्ञों की मदद मांगी है।
पथराव में शामिल लोगों की पहचान करने के लिए घटना के 200 से अधिक
वीडियो क्लिप स्कैन किए जा रहे हैं। यही नहीं कानपुर हिंसा के बाद मुस्लिम धर्मगुरु तौकीर रजा ने बरेली में विशाल विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया है, जिसके बाद
बरेली प्रशासन ने एहतियात के तौर पर धारा 144 के तहत
कर्फ्यू लगा दिया है। तौकीर रजा ने 10 जून को
विरोध प्रदर्शन करने का ऐलान किया है।
गिरफ्तार लोगों में मौलाना मोहम्मद अली (एमएमए) जौहर
फैन्स एसोसिएशन के प्रमुख हयात जफर हाशमी भी शामिल हैं। हिंसा का मास्टरमाइंड माने जाने वाले हाशमी को तीन अन्य लोगों के साथ लखनऊ के हजरतगंज इलाके से गिरफ्तार किया गया था।
कानपुर के पुलिस आयुक्त वीएस मीणा ने कहा कि आरोपियों पर कड़े राष्ट्रीय सुरक्षा कानून और गैंगस्टर अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया जाएगा, जबकि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई)
और अन्य जैसे समूहों की संभावित भूमिका की जांच की जा रही है। अतिरिक्त महानिदेशक (कानून व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने कहा कि हिंसा में शामिल लोगों की संपत्ति जब्त या ध्वस्त की जाएगी।
कानपुर पुलिस आयुक्त ने कहा, हमने सीसीटीवी फुटेज और घटनाओं की अन्य वीडियो रिकॉर्डिंग की मदद से हिंसा में शामिल 36 लोगों की
पहचान की है। अब तक कुल 24 लोगों को
गिरफ्तार किया गया है, जिनमें से
18 को शुक्रवार को गिरफ्तार किया गया था।
उन्होंने कहा, गिरफ्तार आरोपियों को कोर्ट में पेश किया जाएगा और घटना के पीछे की साजिश के बारे में पूछताछ करने के लिए हम 14 दिनों के पुलिस रिमांड की मांग करेंगे। मीणा ने कहा, हम विभिन्न एंगल से घटना की जांच कर रहे हैं और पीएफआई और इस जैसे अन्य समूहों की संलिप्तता को देख रहे हैं। हम विदेशी फंडिंग के एंगल से भी जांच कर रहे हैं। जो भी दोषी पाया जाएगा उसे बख्शा नहीं जाएगा। अधिकारी ने यह भी कहा कि पुलिस हिंसा को रोकने में फोर्स की ओर से चूक की जांच कर रही है।
प्रशासन के अनुसार सार्वजनिक स्थान पर पांच से अधिक व्यक्तियों को इकट्ठा होने की अनुमति नहीं होगी। इस दौरान धरना प्रदर्शन पर भी रोक रहेगी। शुक्रवार को कानपुर में भड़की जैसी किसी अप्रिय स्थिति से बचने के लिए 3 जुलाई तक
कर्फ्यू लगाया गया है। कानपुर में शुक्रवार को कथित तौर पर बाजार बंद को लेकर दो समुदाय के समूहों के बीच हिंसक झड़प हो गई। कानपुर हिंसा पर अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (कानून और
व्यवस्था) आनंद प्रकाश तिवारी ने कहा, इलाके में
शांतिपूर्ण माहौल है और हम चौबीसों घंटे निगरानी कर रहे हैं। बेकनगंज पुलिस स्टेशन में दंगा और हिंसा के लिए तीन FIR दर्ज की
गई हैं। पहली एफआईआर बेकनगंज थाना प्रभारी नवाब अहमद की शिकायत पर करीब 500 लोगों के
खिलाफ घातक हथियारों से दंगा करने के आरोप में दर्ज की गई है।
एफआईआर में एमएमए जौहर फैन्स एसोसिएशन के प्रमुख हयात जफर हाशमी और उनके सहयोगी यूसुफ मंसूरी और आमिर जावेद अंसारी सहित 36 लोगों के
नाम हैं।
एसएचओ के अनुसार, भाजपा प्रवक्ता द्वारा पैगंबर के खिलाफ की गई टिप्पणी के विरोध में हाशमी और उनके लोगों ने शुक्रवार को दुकानें बंद रखने का आह्वान किया था। एफआईआर में कहा गया है कि दंगाइयों ने घातक हथियारों का इस्तेमाल किया, पेट्रोल
बम फेंके और सड़कों पर उतर आए, जिससे इलाके
में दहशत फैल गई। दूसरी एफआईआर सब-इंस्पेक्टर आसिफ रजा की शिकायत पर दर्ज की गई थी। एफआईआर में बीस लोगों को नामजद किया गया है और 350 अज्ञात लोगों
पर मामला दर्ज किया गया है।