50 साल तक US पर करते रहे संदेह, विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने बताया कब से बदले रिश्ते

Updated on 23-09-2022 05:34 PM

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अमेरिका से भारत के रिश्ते को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि करीब 5 दशक तक यूएस को भारत संदेह की नजर से देखता रहा। अमेरिका की विदेश नीति का आकलन सावधानी से किया जाता रहा। लेकिन, देश अब इससे आगे निकल आया है। आज अमेरिका के साथ अलग स्तर के संबंध हैं। जयशंकर कोलंबिया यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ इंटरनेशनल एंड पब्लिक अफेयर्स के राज सेंटर में कोलंबिया विश्वविद्यालय के प्रोफेसर व नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया के साथ बातचीत कर रहे थे।

जयशंकर ने कहा, 'अमेरिका के प्रति हमारे रवैये को देखिए। 40 के दशक के अंत और 2000 के बीच का दौर... जब क्लिंटन भारत आए थे। करीब 50 सालों से अलग-अलग कारणों के चलते हम अमेरिका को बहुत अधिक सतर्कता के साथ संदेह की नजर से देखते थे। मैं यह नहीं कह रहा हूं कि हम गलत थे, या अमेरिका ने गलती की। यह बहुत अहम संबंध था, लेकिन अमेरिका की विदेश नीति का आकलन गहरे संदेह नहीं तो गहरी सावधानी से किया जाता था।'

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्यता पर क्या बोले?
जयशंकर ने कहा कि भारत का संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य नहीं होना केवल 'हमारे लिए ही नहीं' बल्कि इस वैश्विक निकाय के लिए भी सही नहीं है। इसमें सुधार बहुत पहले ही हो जाना चाहिए था। जयशंकर से पूछा गया था कि भारत को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य बनने में कितना वक्त लगेगा? उन्होंने कहा कि वह भारत को स्थायी सदस्यता दिलाने के लिए काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा, 'जब मैं कहता हूं कि मैं इस पर काम कर रहा हूं तो इसका मतलब है कि मैं इसे लेकर गंभीर हूं।'

विदेश मंत्री ने कहा, 'स्वभाविक रूप ये यह बहुत कठिन काम है क्योंकि अंत में अगर आप कहेंगे कि हमारी वैश्विक व्यवस्था की परिभाषा क्या है। वैश्विक व्यवस्था की परिभाषा को लेकर पांच स्थायी सदस्य बहुत महत्वपूण हैं। इसलिए हम जो मांग कर रहे हैं, वह बहुत ही मौलिक, बहुत गहरे बदलाव से जुड़ा है।'

गैर स्थायी सदस्य के तौर पर 2 साल का कार्यकाल
मालूम हो कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के 5 स्थायी सदस्य रूस, ब्रिटेन, चीन, फ्रांस और अमेरिका हैं। इन देशों को किसी भी प्रस्ताव पर वीटो करने का अधिकार प्राप्त है। भारत के पास अभी सुरक्षा परिषद के गैर स्थायी सदस्य के तौर पर दो साल का कार्यकाल है। उसका कार्यकाल दिसंबर में समाप्त हो जाएगा। समसामयिक वैश्विक वास्तविकता को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्यों की संख्या बढ़ाने की मांग बढ़ रही है।  

विदेश मंत्री ने कहा कि हम मानते हैं कि बदलाव काफी जरूरी हो गया है, क्योंकि संयुक्त राष्ट्र 80 वर्ष पहले की स्थितियों के हिसाब से बना। उन्होंने कहा, 'कुछ वर्षों में भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था होगा। यह दुनिया की सबसे घनी आबादी वाला देश होगा। ऐसे देश का अहम वैश्विक परिषदों का हिस्सा न होना जाहिर तौर पर न केवल हमारे लिए बल्कि वैश्विक परिषद के लिए भी अच्छा नहीं है।'


अन्य महत्वपुर्ण खबरें

 15 January 2025
अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने मंगलवार को अपने X अकाउंट पर पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा के साथ बातचीत का डब वीडियो शेयर किया है। ट्रम्प और ओबामा के…
 15 January 2025
अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने पीट हेगसेथ को रक्षा मंत्री के पद के लिए चुना है। वे मंगलवार को सीनेट समिति के सामने पेश हुए। इस दौरान हेगसेथ…
 15 January 2025
इजराइल और हमास के बीच सीजफायर डील के विरोध में इजराइली नागरिकों ने प्रदर्शन शुरू कर दिए हैं। प्रदर्शनकारियों ने सरकार पर आतंकियों के सामने सरेंडर करने का आरोप लगाया…
 15 January 2025
अमेरिका के लॉस एंजिलिस में लगी आग से मंगलवार तक 25 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि करीब 30 लोग लापता हैं। न्यूज एजेंसी AP के मुताबिक यहां पर…
 15 January 2025
अमेरिकी सांसद राजा कृष्णमूर्ति ने जनवरी महीने को तमिल लेंग्वेज और हेरिटेज मंथ के तौर मनाने के लिए मंगलवार को संसद में प्रस्ताव पेश किया। प्रस्ताव पेश करने के बाद…
 15 January 2025
साउथ कोरिया में पद से हटाए गए राष्ट्रपति यून सुक-योल को पुलिस ने बुधवार को उनके आवास से गिरफ्तार कर लिया है। योल पर 3 दिसंबर 2024 को देश में…
 14 January 2025
भारत के साथ पाकिस्तान के लहंदा पंजाब (पश्चिमी पंजाब) में भी सोमवार को लोहड़ी का त्योहार मनाया गया। यह 47 साल में दूसरा मौका है, जब पंजाबी कम्युनिटी के लोगों…
 14 January 2025
अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प कई बार कनाडा को अमेरिका का 51वां स्टेट बनने के ऑफर दे चुके हैं। इस मुद्दे पर लगातार विवाद बढ़ता जा रहा है।…
 14 January 2025
नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मलाला यूसुफजई ने रविवार पाकिस्तान में मुस्लिम लड़कियों की शिक्षा पर आयोजित एक सम्मेलन में भाग लिया। CNN के मुताबिक इस दौरान उन्होंने मुस्लिम नेताओं से…
Advt.