दाना जैसे दानव तूफान ओडिशा आकर क्यों हो जाते हैं फुस्स, सुपर साइक्लोन के 25 साल बाद यह राज्य कैसे बना रोल मॉडल

Updated on 25-10-2024 01:49 PM
नई दिल्ली: ओडिशा में चक्रवाती तूफान दाना ने तबाही मचानी शुरू कर दी है। बीते 24 घंटों में यह तूफान 120 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से केंद्रपाड़ा जिले के भीतकर्णिका और भद्रक जिले के धामरा के तटों से टकराया। माना जा रहा है कि इस तूफान से ओडिशा की पूरी आबादी पर असर पड़ने की आशंका है। ओडिशा में 14 जिलों के 10 लाख लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया जाना है। तूफान का असर ओडिशा के अलावा बिहार, झारखंड और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों पर भी प़ड़ा है।

ओडिशा में सुपर साइक्लोन की तबाही के 25 साल हो गए हैं। इस आपदा में तब 1.8 करोड़ लोग प्रभावित हुए थे। 10 हजार से ज्यादा लोगों को जान गंवानी पड़ी थी। इन 25 साल में ओडिशा ने खुद को ऐसा बदला कि वह बेहतर आपदा प्रबंधन के मामले में दूसरे राज्यों के लिए नजीर साबित हो सकता है। आखिर एक छोटे से बीमारू राज्य ने खुद को कैसे बदला और किस तरह से पूरे देश के लिए रोल मॉडल बन गया। जानते हैं विकास की कहानी।

बरसों की तैयारी ने ओडिशा को बनाया ढाल

ओडिशा की वर्षों की योजना और तैयारी का फल यह मिला कि शक्तिशाली चक्रवातों से होने वाली मौतें कभी भी दोहरे अंक को पार नहीं कर पाईं। जब 2013 में चक्रवात फेलिन ओडिशा के तटों से टकराया तो ओडिशा ने दुनिया में सबसे सफल आपदा प्रबंधन प्रयासों में से एक को अंजाम दिया। सुपर चक्रवात के बाद देश में आने वाले सबसे शक्तिशाली चक्रवात से पहले करीब 10 लाख लोगों को निकाला गया। 2019 में जब एक और शक्तिशाली चक्रवात फानी आया तो ओडिशा सरकार ने उच्च स्तर की तैयारी दिखाई और इन पूर्वानुमानों के आधार पर लगभग 12 लाख लोगों को सुरक्षित निकाल लिया।

आपदा प्रबंधन तंत्र बनाने वाला पहला राज्य बना

1999 में सुपर साइक्लोन के मद्देनजर ओडिशा आपदा प्रबंधन प्राधिकरण स्थापित करने वाला भारत का पहला राज्य बन गया। जबकि 2005 में राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) की स्थापना की गई थी। ओडिशा ने सालोंसाल ऐसी आपदाओं की तैयारी की और वह आज आसानी से ऐसे तूफानों से पार पा लेता है। तूफान आने के दौरान मामूली क्षति होती है।

1 लाख लोगों का आपदा कैडर बनाया जो हैं देवदूत


महत्वपूर्ण बात यह है कि राज्य ने स्थानीय समुदायों को प्रयास के केंद्र में रखकर आपदा प्रबंधन के पारंपरिक दृष्टिकोण को छोड़ दिया। जैसे, जमीनी स्तर के लोगों - ग्राम पंचायतों, महिला स्वयं सहायता समूहों और स्वयंसेवकों के 1 लाख से अधिक कैडर को आपदा जोखिम को कम करने और बचाव और राहत कार्यों का प्रबंधन करने के लिए प्रशिक्षित किया गया था। हर साल जून और नवंबर में ओएसडीएमए राज्य भर में दो बड़े समुदाय आधारित मॉक ड्रिल आयोजित करता है, जिसमें कई सरकारी विभाग, जिला कलेक्टर, ग्राम पंचायत, गैर सरकारी संगठन और हजारों प्रशिक्षित स्वयंसेवक शामिल होते हैं।

800 से ज्यादा आपदा आश्रय और आपदा प्रतिरोधी घर बनाए गए


ओडिशा में सभी समुद्री तटरेखा पर निकासी सड़कों के साथ 800 से अधिक बहुउद्देश्यीय चक्रवात आश्रय बनाए गए हैं। समुद्र तटीय गांवों को समुद्र के प्रवेश से बचाने के लिए तटबंध भी बनाए जा रहे हैं। कई कमजोर परिवारों को पुआल की झोपड़ियों से बने नए बहु जोखिम आपदा प्रतिरोधी घर दिए गए।

अर्ली वॉर्निंग सिस्टम बनाने वाला पहला राज्य


सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि ओडिशा पहला भारतीय राज्य है जिसने आपदा संबंधी जानकारी प्रसारित करने के लिए अर्ली वॉर्निंग सिस्टम बनाया है। राज्य के सभी तटीय जिलों के लगभग 1,200 गांवों को अब सायरन और सामूहिक संदेशों के जरिए चक्रवात या सुनामी की चेतावनी मिलती है।

120 से ज्यादा तटवर्ती जगहों पर निगरानी टॉवर


ओडिशा में तूफान की तबाही से बचाने के लिए 120 से अधिक तटीय स्थानों पर निगरानी टॉवर लगाए गए हैं। जो तूफान की शुरुआती चेतावनी देते हैं। ओडिशा के तट को समुद्री कटाव से बचाने की भी तत्काल आवश्यकता है, जिसके लिए बड़े-बड़े तटबंध बनाए जा रहे हैं।

ओडिशा की प्रभावी आपदा प्रबंधन के लिए 4 स्ट्रैटेजी क्या है


ओडिशा के आपदा प्रबंधन मॉडल में समुदाय केंद्रित तैयारी, चक्रवातों की स्थिति में बड़े पैमाने पर निकासी के प्रयास, मॉक ड्रिल और आपदारोधी बुनियादी ढांचे का निर्माण शामिल है। इसमें राज्य ग्राम पंचायतों, महिला स्वयं सहायता समूहों और स्वयंसेवकों को शामिल किया जाता है।

आपदा प्रबंधन में ओडिशा के सामने क्या हैं चुनौतियां


जलवायु परिवर्तन के जोखिम के साथ ही ओडिशा अधिक तीव्र चक्रवातों, लू, बाढ़ और समुद्री कटाव के लिए तैयार है, जो आपदा जोखिम प्रबंधन को और मजबूत बनाता है। वह एडवांस्ड टेक्नोलॉजी तलाश रहा है, जो चक्रवातों या तूफानों के जोखिम को कम करता है।

अन्य महत्वपुर्ण खबरें

 07 January 2025
अब हायर एजुकेशन इंस्टीट्यूटस में असिस्‍टेंट प्रोफेसर बनने के लिए UGC NET एग्‍जाम क्लियर करने की जरूरत नहीं होगी। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने हायर एजुकेशन इंस्टीट्यूट यानी HEIs…
 07 January 2025
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार सुबह दिल्ली में भारतपोल पोर्टल लॉन्च किया। इस दौरान शाह ने कहा- आतंकवाद, लोकतंत्र, मानवाधिकार, आर्थिक प्रगति और विश्व शांति के खिलाफ सबसे…
 07 January 2025
असम के दीमा हसाओ जिले के उमरंगसो में 300 फीट गहरी कोयला खदान में सोमवार को अचानक पानी भर गया था, जिससे 15 मजदूर अंदर फंस गए। मजदूरों के फंसने…
 07 January 2025
उत्तर भारत के राज्यों में तेज सर्दी का असर जारी है। देश के 16 राज्यों में घने कोहरे का भी असर देखने को मिल रहा है।मौसम विभाग के मुताबिक, पंजाब,…
 07 January 2025
दिल्ली में विधानसभा चुनाव का आज ऐलान होगा। चुनाव आयोग दोपहर 2 बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस करेगा। इसी के साथ दिल्ली में आचार संहिता लागू हो जाएगी।विधानसभा का मौजूदा कार्यकाल 23…
 07 January 2025
कोरोना जैसे HMPV वायरस के केस बढ़कर 8 हो गए हैं। मंगलवार को महाराष्ट्र के नागपुर में 2 केस सामने आए। यहां एक 13 साल की लड़की और एक 7…
 06 January 2025
यूट्यूबर अंकुश बहुगुणा ने सोशल मीडिया साइट पर वीडियो पोस्ट करके 40 घंटे तक डिजिटल अरेस्ट होने की जानकारी थी। अंकुश ने रविवार को वीडियो में कहा- मैं अभी भी…
 06 January 2025
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए जम्मू के नए रेलवे डिवीजन का उद्घाटन करेंगे। इसके साथ ही वे रेल से जुड़ी कई परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास…
 06 January 2025
भूख हड़ताल पर बैठे जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर (PK) को पटना पुलिस ने सोमवार को गिरफ्तार कर लिया था। पटना सिविल कोर्ट में उन्हें SDJM आरती उपाध्याय…
Advt.